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नगर निगम ने 15 करोड़ की जमीन कराई अतिक्रमण मुक्त

अतिक्रमण के खिलाफ नगर निगम का अभियान जारी

 

लखनऊ,भारत प्रकाश न्यूज़। राजधानी में अतिक्रमण के खिलाफ नगर निगम की कार्रवाई जारी है। शुक्रवार को मण्डलायुक्त और नगर आयुक्त गौरव कुमार के निर्देश पर सरकारी भूमि को अतिक्रमण से मुक्त कराने के अभियान के तहत नगर निगम द्वारा बड़ी कार्रवाई की गई। जिसे अभियान में नगर निगम के अपर नगर आयुक्त पंकज श्रीवास्तव के निर्देशन में चलाया गया। जिसमें जोन-4 के ग्राम बाघामऊ और जोन-7 के ग्राम नौबस्ता कलां तहसील सदर, की सरकारी भूमि को अतिक्रमण से मुक्त कराया गया।

ग्राम नौबस्ता कलां की जमीन देवा रोड के पास है, जो वाणिज्यिक दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण मानी जाती है। यहां लंबे समय से कुछ प्रॉपर्टी डीलरों और बिल्डरों द्वारा सरकारी भूमि पर अवैध रूप से कब्जा किया गया था। इस अभियान में प्रभारी अधिकारी (संपत्ति) संजय यादव और तहसीलदार अरविंद पांडे की ओर से गठित टीम ने हिस्सा लिया। टीम का नेतृत्व नायब तहसीलदार नीरज कटियार ने किया।

कार्रवाई के दौरान नगर निगम के लेखपाल राकेश यादव, लालू प्रसाद, आलोक यादव, सुभाष कौशल और विनोद वर्मा की मदद से मौके पर जेसीबी मशीन से अस्थायी निर्माण हटाए गए। इस अभियान में थाना चिनहट के चौकी इंचार्ज धनंजय सिंह भी अपनी टीम के साथ मौजूद रहे। अराजक तत्वों द्वारा किए गए विरोध के बावजूद पुलिस और प्रशासन की सूझबूझ से कार्रवाई शांतिपूर्वक पूरी की गई।

अभियान के दौरान ग्राम बाघामऊ में तथा ग्राम नौबस्ता कलां की जमीन से अतिक्रमण हटाया गया। कुल मिलाकर लगभग 1.5 हेक्टेयर सरकारी भूमि को अवैध कब्जे से मुक्त कराया गया, जिसकी बाजारी कीमत 15 करोड़ रुपये से अधिक बताई गई है।

जांच में यह भी सामने आया कि कारोबारी राकेश कुमार, जो कोका-कोला कंपनी के डीलर हैं, द्वारा इस जमीन पर गोदाम बनाया गया था। वहीं, प्रॉपर्टी डीलर देवा प्रसाद सिंह और उनके पुत्र उर्मिल सिंह द्वारा गाटा संख्या 641 व 599 पर अवैध प्लॉटिंग की गई थी और उस पर एक मोटर गैराज भी चलाया जा रहा था।

नगर निगम ने बताया कि इस अवैध कब्जे और सरकारी भूमि को नुकसान पहुंचाने के लिए चिनहट थाने में जल्द ही आपराधिक मुकदमा दर्ज कराया जाएगा। साथ ही, नगर निगम द्वारा आगे भी ऐसे अतिक्रमण विरोधी अभियान लगातार जारी रहेंगे।

प्रशासन ने आम जनता से अपील की है कि वे सरकारी जमीन पर कोई भी निर्माण कार्य न करें अन्यथा कड़ी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।

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